आचार्य 108 विराग सागर जी महाराज के परम प्रभावक शिष्य, चर्या शिरोमणि, रत्नत्रय के धारी, परम श्रद्धेय आचार्य 108 श्री विशुद्ध सागरजी महाराज रावतभाटा पंचकल्याणक पूर्ण कर नीमच की और विहार कर रहे हैं। कुल 28 मुनियों के महासंघ की अगवानी हेतु सकल दिगम्बर जैन समाज अति उत्साहित और प्रफुल्लित है ।
अध्यक्ष विजय विनायका (जैन ब्रोकर्स) के कुशल मार्ग दर्शन में महिला मंडल और समस्त समाज जन, संघ के निर्विघन आहार विहार की तैयारियों में जुट गया है। नीमच की पावन धरा को सुपावन करने गुरुदेव विशुद्ध सागर जी संघ का 15 फरवरी को प्रातः लगभग 9 बजे नीमच प्रवेश होगा।
ज्ञात हो की संघ के सानिध्य में शीतल धाम तीर्थ रतलाम में पंचकल्याणक निर्धारित है, अतः संघ उस ही और विहार को अग्रसर है। अध्यक्ष विजय विनायका ने नीमच की समस्त जनता से निवेदन किया है कि सिर्फ एक दिन के अल्प प्रवास में आचार्य श्री के दर्शन और दिव्य देशना का जितना लाभ मिल सके लेना चाहिए I