सिंगोली (मुकेश माहेश्वरी)। धार्मिक नगरी सिंगोली में 37 वर्षों बाद पुण्य उदय से एक ऐतिहासिक और पुण्यदायी क्षण साक्षी बना, जब 5 जुलाई की सुबह आर्यिका श्री प्रशममति माताजी एवं आर्यिका श्री उपशममति माताजी का ससंघ नगर में चातुर्मास हेतु भव्य मंगल प्रवेश हुआ। यह आयोजन आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज, आचार्य श्री ज्ञेयसागर जी महाराज एवं अर्हयोग प्रणेता मुनिश्री प्रणम्य सागर जी महाराज के पावन आशीर्वाद से संपन्न हुआ।
प्रातः 8 बजे रिमझिम वर्षा की बूंदों के बीच जैसे ही माताजी ससंघ नगर में प्रवेश कर रहे थे, श्रद्धा और भक्ति का अद्भुत संगम दिखाई दिया। नगर की गलियों में बैंड-बाजे की धुन, जयकारों की गूंज, आरती की ज्योति, और प्रदक्षिणा की आस्था वातावरण को धर्ममय बना रही थी।
नगर हुआ धर्ममय
मंगल प्रवेश के दौरान समाजजनों ने जगह-जगह पाद प्रक्षालन व आरती कर माताजी ससंघ का स्वागत किया। बापू बाजार में 108 थालियों से भव्य पाद प्रक्षालन का आयोजन हुआ, जहां श्रद्धालुओं की भावनाएं आत्मिक आनंद में बदल गईं।
महिला मंडल ने ड्रेस कोड की केसरिया साड़ियां पहन हाथों में झंडे लिए माताजी के स्वागत में शोभायात्रा में भाग लिया, वहीं पुरुष और युवा वर्ग सफेद वस्त्रों में “जय हो” के घोष करते हुए आगे बढ़े। पाठशाला के बच्चों ने भी उत्साह से हाथों में ध्वज लेकर शोभायात्रा की शोभा बढ़ाई।
धर्मसभा और स्वागत अनुष्ठान
शोभायात्रा के बाद माताजी ससंघ श्री पार्श्वनाथ दिगंबर जैन मंदिर पहुँचे। वहां श्रीजी के दर्शन के पश्चात धर्मसभा का आयोजन हुआ। मंगलाचरण बालक अरनव सेठिया ने किया। इस अवसर पर बाहर से पधारे समाजजनों को आचार्य श्री के चित्र अनावरण का सौभाग्य मिला।
युवावर्ग को माताजी ससंघ को शास्त्र भेंट करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। समाजजनों द्वारा चातुर्मास हेतु निवेदन किया गया, जिसे माताजी ससंघ ने स्वीकार करते हुए धर्मसभा को संबोधित किया।
भव्य पंचकल्याणक महोत्सव की घोषणा
माताजी के सानिध्य में आगामी समय में अर्हयोग प्रणेता मुनिश्री प्रणम्य सागर जी महाराज व आर्यिका ससंघ के सानिध्य में भव्य पंचकल्याणक महोत्सव आयोजित होने जा रहा है, जिसकी तैयारियाँ अभी से प्रारंभ हो चुकी हैं।
मंच संचालन निर्मल खटोड़ ने किया। वहीं 6 जुलाई को प्रातः काल शांति मंडल विधान का आयोजन भी माताजी के सानिध्य में होगा। इस अवसर पर बोराव, झांतला, धनगांव, थडोद, बिजोलिया सहित अनेक नगरों से श्रद्धालु बड़ी संख्या में उपस्थित रहे।